Home अंतरराष्ट्रीय संरा सीओपी28 जलवायु वार्ता का नेतृत्व करने के लिए यूएई ने तेल कंपनी प्रमुख को नामित किया

संरा सीओपी28 जलवायु वार्ता का नेतृत्व करने के लिए यूएई ने तेल कंपनी प्रमुख को नामित किया

दुबई, 12 जनवरी (ऐजेंसी/अशोका एक्स्प्रेस)। संयुक्त अरब अमीरात ने दुबई में आगामी संयुक्त राष्ट्र जलवायु वार्ता की अध्यक्षता के लिए बृहस्पतिवार को एक अनुभवी प्रौद्योगिकीविद् का नाम लिया जो अबू धाबी की सरकारी तेल कंपनी का नेतृत्व करने के साथ ही उसके नवीकरणीय ऊर्जा प्रयासों को भी देखते हैं।

यूएई के इस कदम को इस कच्चे तेल के उत्पादक राष्ट्र के लिए आगे संतुलन साधने के रास्ते के तौर पर देखा जा रहा है।

अधिकारियों ने संयुक्त अरब अमीरात के नेता शेख मोहम्मद बिन जायद अल नहयान के विश्वासपात्र सुल्तान अल-जबर को नामांकित किया। अल-जबर अबू धाबी नेशनल ऑयल कंपनी के सीईओ हैं। यह कंपनी एक दिन में लगभग 40 लाख बैरल कच्चे तेल का उत्पादन करती है और इसे रोजाना 50 लाख बैरल करने की उम्मीद कर रही है।

अल-जबर ने एक बार अबू धाबी के बाहरी इलाके में 22 अरब अमेरिकी डॉलर का “कार्बन-तटस्थ” शहर बनाने की महत्वाकांक्षी परियोजना का भी नेतृत्व किया था। यह प्रयास हालांकि 2008 के वैश्विक वित्तीय संकट के बाद परवान नहीं चढ़ सका था।

आज भी वह एक स्वच्छ ऊर्जा कंपनी ‘मसदर’ के अध्यक्ष के रूप में कार्य करते हैं, जो उस परियोजना से विकसित हुई थी। कंपनी का संचालन अब 40 से अधिक देशों में होता है।

अमीरात की सरकार द्वारा संचालित समाचार एजेंसी डब्ल्यूएएम ने अल-जबर को उद्धृत करते हुए कहा, “जलवायु कार्रवाई के लिए अहम दशक में यह एक महत्वपूर्ण वर्ष होगा।”

उन्होंने कहा, “यूएई सीओपी2 को जिम्मेदारी की एक मजबूत भावना और उच्चतम संभव स्तर की महत्वाकांक्षा के साथ देख रहा है।”

अल-जबर ने कहा, “हम एक व्यावहारिक, यथार्थवादी और समाधान-उन्मुख दृष्टिकोण लाएंगे जो जलवायु और निम्न-कार्बन आर्थिक विकास के लिए परिवर्तनकारी प्रगति प्रदान करता है।”

अल-जबर को नई भूमिका के लिए नामित किए जाने को लेकर कुछ पक्षों द्वारा आलोचना भी की गई है।

क्लाइमेट एक्शन नेटवर्क इंटरनेशनल में ग्लोबल पॉलिटिकल स्ट्रैटेजी के प्रमुख हरजीत सिंह ने कहा कि अल-जबर देश की तेल कंपनी में सीईओ हैं ऐसे में “हितों का एक अभूतपूर्व और खतरनाक संघर्ष” सामने आएगा।

सिंह ने कहा, “जलवायु सम्मेलन में प्रदूषकों के लिए कोई जगह नहीं हो सकती है, कम से कम सीओपी की अध्यक्षता करने के लिये तो बिल्कुल नहीं।”

हर साल होने वाली संयुक्त राष्ट्र की इस वार्ता को ‘कॉन्फ्रेंस ऑफ द पार्टीज’ (सीओपी) के तौर पर जाना जाता है। इसमें मेजबान देश वार्ता की अध्यक्षता के लिये एक व्यक्ति को नामित करता है।

 

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